आईएएस मुख्य परीक्षा पाठ्यक्रम: वैद्युत इंजीनियरी (वैकल्पिक विषय)

Union Public Service Commission

सिविल सेवा मुख्य परीक्षा पाठ्यक्रम

वैद्युत इंजीनियरी (वैकल्पिक विषय)

 

प्रश्न पत्र - 1

1. परिपथ - सिद्धांत : विद्युत अवयव, जाल लेखचित्र, केल्विन धारा नियम, केल्विन वोल्टता नियम, परिपथ विश्लेषण विधियां, नोडीय विश्लेषण ; पाश विश्लेषण ; आधारभूत जाल प्रमेय तथा अनुप्रयोग ; क्षणिका विश्लेषण ; RL, RC एवं RLC परिपथ ; ज्वायक्रीय स्थायी अवस्था विश्लेषण, अनुनादी परिपथ ; युग्मित। परिपथ ; संतुलित त्रिकला परिपथ। द्विकारक जाल। 

2. संकेत एवं तंत्र : सतत काल एवं विवक्त - काल संकेतों एवं तंत्र का निरूपण ; रैखिक काल निश्चर तंत्र संवलन आवेग, अनुक्रिया, संवलन एवं अवकल अंतर समीकरणों पर आधारित रैखिक काल निश्चर तंत्रों का समय क्षेत्र विश्लेषण। फूरिए रूपांतर, लेप्लास रूपांतर, जैड - रूपांतर, अंतरण फलन संकेतों का प्रतिचयन एवं उनकी प्रतिप्राप्ति। विवक्त कालतंत्रों के द्वारा तुल्य रूप संकेतों का DFT, FFT संसाधन। 

3. विद्युत चुम्बकीय सिद्धांत : मैक्सवेल समीकरण, परिबद्ध माध्यम में तरंग संचरण। परिसीमा अवस्थाएं, समतल तरंगों का परावर्तन एवं अपवर्तन। संचरण लाइनों ; प्रगामी एवं अप्रगामी तरंगे, प्रति बाधा। प्रतितुलन, स्मिथ चार्ट।

4 . तुल्य एवं इलेक्ट्रॉनिकी : अभिलक्षण एवं डायोड का तुल्य परिपथ ( वृहत एवं लघु संकेत), द्विसंधि ट्रांजिस्टर, संधि क्षेत्र प्रभाव ट्रांजिस्टर एवं धातु ऑक्साइड सामिचालक क्षेत्र प्रभाव ट्रांजिस्टर।  डायोड परिपथ : कर्तन, ग्रामी, दिष्टकारी।  अभिनतिकरण एवं अभिनति स्थायित्व।  क्षेत्र प्रभाव ट्रांजिस्टर प्रवर्धक।  धारा दर्पण, प्रवर्धक : एकल एवं बहुचरणी, अवकल, संक्रियात्मक, पुनर्निवेश एवं शक्ति।  प्रबंधकों का विश्लेषण, प्रबंधकों की आवृत्ति अनुक्रिया।  संक्रियात्मक प्रबंधक परिपथ।  निस्यंदक, ज्वायक्रीय दोलित्र ; दोलन के लिए कसौटी, एकल ट्रांजिस्टी और संक्रियात्मक प्रवर्धक विन्यास।  फलन जनित्र एवं तरंग परिपथ। रैखिक एवं स्विचन विद्युत प्रदाय। 

5. अंकीय इलेक्ट्रॉनिकी : बूलीय बीजावली, बूलीय फलन का न्यूनतमीकरण ; तर्कद्वार, अंकीय समाकलित परिपथ कुल, ( DTL, TTL, ECL,MOS, CMOS )। संयुक्त परिपथ अंकगणितीय परिपथ, कोड परिवर्तक, मल्टीप्लेक्सर एवं विकोड़ित्र। अनुक्रमिक परिपथ, चटखनी एवं थपथप, गणित्र एवं विस्थापन पंजीयक। तुलनित्र, कालनियामक बहुकंपित्र।  प्रतिदर्श एवं धारण परिपथ, तुल्यरूप अंकीय परिवर्तन ( ADC ) एवं अंकीय तुल्य रूप परिवर्तक ( DAC )। सामिचालक स्मृतियां। प्रक्रमित युक्तियों का प्रयोग करते हुए तर्क कार्यान्वयन ( ROM, PLA,FPGA )।

6. ऊर्जा रुपांतरण : वैद्युत यांत्रिकी ऊर्जा रूपांतरण के सिद्धांत ; घूर्णित मशीनों में बल आघूर्ण एवं विद्युत चुंबकीय़ बल दि, धा, मशीनें : अभिलक्षण एवं निस्पादन विश्लेषण, मोटरों का प्रारम्भन एवं गति नियंत्रण। परिणामित्र : प्रचालन एवं विश्लेषण के सिद्धांत : विनियमन दक्षता ; त्रिकला परिणामित्र : त्रिकला प्रेरण मशीनें एवं तुल्यकालिक मशीनें ; अभिलक्षण एवं निष्पादन विश्लेषण ; गति नियंत्रण। 

7. शक्ति इलेक्ट्रॉनिकी एवं विद्युत चालन : सामिचालक शक्ति युक्तियां : डायोड, ट्रांजिस्टर, थाइरिस्टर, ट्रायक, GTO एवं धातु ऑक्साइड सामिचालक क्षेत्र प्रभाव ट्रांजिस्टर स्थैतिक अभिलक्षण एवं प्रचालन एक सिद्धांत, ट्रिगरिंग परिपथ, कला नियंत्रण दिष्टकारी, सेतु परिवर्तक : पूर्ण नियंत्रित एवं अर्द्धनियंत्रित थाइरिस्टर चापक एवं प्रतीयकों के सिद्धांत, DC -DC परिवर्तक, स्विच मोड़ इन्वर्टर, (dc एवं ac, मोटर चालन के गतिनियंत्रण की आधारभूत संकल्पना, विचरणीय चाल चालन के अनुप्रयोग।

8. तुल्यरूप संचार : यादृच्छिक वर : संतत, विविक्त : प्रायिकता, प्रायिकता फलन। सांख्यिकीय औसत ; प्रायिकता निदर्श : यादृच्छिक संकेत एवं रव ; सम, रव, रवतुल्य बैंड चौड़ाई, रव सहित संकेत प्रेषण। रव संकेत अनुपात, रैखिक CW। मॉडुलन : आयाम - मॉडुलन : द्विसाइड बैंड, द्विसाइड बैंड - एकल चैनल ( DSB- SC ) एवं एकल बैंड। माडुलन एवं विमाडुलन ; कला और आवृत्ति मॉडुलन ; कला मॉडुलन एवं आवृत्ति मॉडुलन संकेत, संकीर्ण बैंड आवृत्ति मॉडुलन, आवृत्ति। मॉडुलन कला मॉडुलन के लिए जनन एवं संसूचन, विष्प्रबलन, पूर्व प्रबलन। संवाहक तरंग मॉडुलन ( CWM )। तंत्र ; परासंस्करण अभिग्राही,आयाम मॉडुलन अभिग्राही, संचार अभिग्राही, आवृत्ति मॉडुलन अभिग्राही कला पाशित लूप, एकल साइड बैंड अभिग्राही, आयाम मॉडुलन एवं आवत्ति मॉडुलन अभिग्राही के लिए सिगनल - रव अनुपात गणन।

प्रश्न पत्र - 2

1. नियंत्रण तंत्र : नियंत्रण तंत्र के तत्व, खंड आरेख निरूपण; खुला पाश एवं बंदपाश तंत्र, पुनर्निवेश के सिद्धांत एवं अनुप्रयोग। नियंत्रण तंत्र अवयव। रैखिक काल निश्चर तंत्र : काल प्रक्षेप एवं रूपांतर प्रक्षेप विश्लेषण। स्थायित्व : राउथ हरविज कसौटी, मूल बिंदुपथ, बोर्ड आलेख एवं पोलर आलेख, नाइक्विएस्ट कसौटी, अग्रपश्चता प्रतिकारक का अभिकल्पन। सामनुपालिक PI, PID, नियंत्रण, नियंत्रण तंत्रों का अवस्था - विचरणीय निरूपण एवं विश्लेषण।

2. माइक्रोप्रोसेसर एवं माइक्रोकंप्यूटर : PC संघटन CPU, अनिदेश सेट, रजिस्टर सेट, टाइमिंग आरेख, प्रोग्रामन, अंतरानयन स्मृति, अरापृष्ठान, I O, अंतरापृष्ठान, प्रोग्रामनीय परिधीय युक्तियां।

3. मापन एवं मापयंत्रण : त्रुटि विश्लेषण : धारा, वोल्टता, शक्ति, ऊर्जा, शक्ति गुणक, प्रतिरोध, प्रेरकत्व, धारिता एवं आवृत्ति का मापन, सेतु मापन। सिगनल अनुकूल परिपथ, इलेक्ट्रॉनिकी मापन यंत्र ; बहुमापी, कैथोड किरण आसिलोस्कोप, अंकीय वोल्टगामी, आवृत्ति गणित, Q मापी, स्पेक्ट्रम विश्लेषक, विरूपण मापी ट्रांसड्यूसर, ताप वैद्युत युग्म, थर्मिस्टर, रेखीय परिवर्तनीय अवकल ट्रांसड्यूसर, विकृति प्रभावी, दाब विद्युत क्रिस्टल। 

4. शक्तितंत्र : विश्लेषण एवं नियंत्रण : सिरोपरि संचरण लाइनों तथा केबलों का स्थायी दशा निष्पादन, सक्रिय एवं प्रतिघाती शक्ति अंतरण एवं वितरण के सिद्धांत, प्रति इकाई राशियां, बस प्रवेश्यता एवं प्रतिबाधा आव्यूह, लोड प्रवाह ; वोल्टता नियंत्रक एवं शक्ति गंणक संशोधन ; आर्थिक प्रचालन, सममित घटक : सममित एवं असममित दोष का विश्लेषण। तंत्र स्थायित्व की अवधारणा : स्विंग वक्र एवं समक्षेत्र कसौटी। स्थैतिक वोल्ट एम्पियर प्रतिघाती तंत्र। उच्च वोल्टता दिष्टधारा संचरण की मूलभूत अवधारणाएं।

5. शक्तितंत्र रक्षण : अतिधारा, अवकल एवं दूरी रक्षण के सिद्धांत। ठोस अवस्था रिले की अवधारणा। परिपथ वियोजक। अभिकलित्र सहायता प्राप्त रक्षण ; परिचय, लाइन, बस, जनित्र, परिणामित्र रक्षण, संख्यात्मक। रिले एवं रक्षण के लिए अंकीय संकेत रक्षण ( DSP ) का अनुप्रयोग।

6. अंकीय संचार : स्पंद कोड माडुलन, अवकल स्पंद कोड मॉडुलन, डेल्टा मॉडुलन अंकीय विमाडुलन एवं विमाडुलन योजनाएं : आयाम, कला एवं आवृत्ति कुंजीयन योजनाएं। त्रुटि नियंत्रण कूटकरण : त्रुटिसंसूचन एवं संशोधन रैखिक खंड कोड, संवलन कोड। सूचना माप एवं स्रोत कूट करण। आंकड़ा जाल, 7 - स्तरीय वास्तुकला।


यूपीएससी हिंदी माध्यम सिलेबस के मुख्य पृष्ठ में जाने के लिये यहां क्लिक करें।


data-matched-content-ui-type="image_card_stacked"